अपने लोगों को नियुक्त करना चाहती है दिल्ली सरकारः गुप्ता

vijendr-guptaदिल्ली विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता विजेन्द्र गुप्ता ने उप-राज्यपाल से डिप्टी-सीएम मनीष सिसोदिया द्वारा अखबारों में केंद्र के खिलाफ विज्ञापन देकर तयशुदा अधिकारियों से कम अधिकारी देने के आरोप पर उच्चस्तरीय जांच की मांग की है। गुप्ता ने कहा कि अधिकारियों की कमी का दावा इसलिये की जा रहा है, क्योंकि आम आदमी पार्टी अपने कार्यकर्ताओं और नजदीकियों को इन पदों पर एक्सपर्ट के रूप में नियुक्त करना चाहती है। गुप्ता ने बताया कि अधिकारियों की पोस्टिंग का खुलासा केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा जारी किए गए आंकड़ों से हुआ है। इसीलिए उपमुख्यमंत्री के आरोप बेबुनियाद हैं। साथ ही नेता विपक्ष ने उप-राज्यपाल से यह भी मांग की है कि वे सरकारी धन से गलत विज्ञापन देकर जनता को गुमराह करने के आरोप में सिसोदिया तथा जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ उचित कार्रवाई करें। साथ ही विज्ञापनों पर खर्च सरकारी पैसे की वसूली सिसोदिया तथा अन्य जिम्मेदार अधिकारियों से की जाए। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने गुरूवार को स्पष्ट किया है कि दिल्ली सरकार के लिए वरिष्ठ स्तर के अधिकारियों के 83 पद स्वीकृत हैं। इसके विपरीत केंद्र सरकार ने दिल्ली सरकार को 86 अधिकारी दे रखे हैं जो वरिष्ठ स्तर के हैं और वे इस समय दिल्ली सरकार के महत्वपूर्ण पदों पर रहकर अपनी जिम्मेदारी बखूबी निभा रहे हैं। उन्होंने कहा कि गृह मंत्रालय के अनुसार उसने दिल्ली सरकार में 180 अन्य अधिकारियों की पोस्टिंग की हुई है। इसीलिए डिप्टी सीएम का यह कहना आधारहीन है कि दिल्ली सरकार में मात्र 65 अधिकारी हैं। इसके अतिरिक्त दिल्ली सरकार के अपने 450 तदर्थ अधिकारी हैं जो विभिन्न विभागों में अपने दायित्वों का निर्वहन कर रहे हैं। दिल्ली सरकार इनके बारे में नहीं बताती। केजरीवाल सरकार के उच्च अधिकारियों ने माना है कि केन्द्र सरकार दानिक्स अधिकारियों की केडर कंट्रोलिंग अथोरिटी है और वह ट्रांसफर तथा पोस्टिंग मामले में निर्धारित प्रक्रिया का पालन कर रही है। गुप्ता ने आरोप लगाया कि अधिकारियों की कमी का हल्ला इसीलिए मचाया जा रहा है ताकि आम आदमी पार्टी इन पदों पर अपने कार्यकर्ताओं तथा चाहने वालों को एक्सपर्ट के रूप में नियुक्त कर सके। भर्ती की प्रक्रिया चालू की जा चुकी है। विपक्ष के नेता ने उप-राज्यपाल से मांग की कि सारे मसले की जॉंच करायी जाये और गलत नीतियों के आधार पर की जाने वाली भर्तियों पर तुरंत रोक लगवाई जाये।

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